दुर्घटनाग्रस्त हुए विमान का अच्छी तरह से रखरखाव किया गया था : एअर इंडिया सीईओ
सुभाष धीरज
- 19 Jun 2025, 09:29 PM
- Updated: 09:29 PM
मुंबई, 19 जून (भाषा) एअर इंडिया के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) और प्रबंध निदेशक कैंपबेल विल्सन ने बृहस्पतिवार को कहा कि पिछले हफ्ते दुर्घटनाग्रस्त हुए बोइंग 787-8 ड्रीमलाइनर का ‘‘अच्छी तरह से रखरखाव’’ किया गया था तथा इस विमान की आखिरी बार गहन जांच जून 2023 में की गई थी और अगली जांच इस साल दिसंबर में होनी थी।
यात्रियों को दिये एक संदेश में, एअर इंडिया प्रमुख ने यह भी कहा कि अगले कुछ सप्ताह के लिए कंपनी के बड़े विमानों के बेड़े के परिचालन में 15 प्रतिशत की कटौती एक अस्थायी कदम है।
उन्होंने कहा, ‘‘विमान का रखरखाव अच्छी तरह से किया गया था, आखिरी बार इसकी गहन जांच जून 2023 में की गई थी और अगली जांच दिसंबर 2025 में होनी थी। इसके दाहिने इंजन की मार्च 2025 में मरम्मत की गई थी और बाएं इंजन की जांच अप्रैल 2025 में की गई थी। विमान और इंजन दोनों की नियमित रूप से जांच की गई थी, जिनमें उड़ान से पहले कोई समस्या नहीं नजर आई थी।’’
विमानन कंपनी के प्रमुख ने कहा कि विमान में सवार 241 लोगों के साथ-साथ जमीन पर 34 लोगों की मौत ने ‘‘हम सभी को बहुत दुखी किया है।’’
विल्सन ने कहा, ‘‘इस भयावह घटना से प्रभावित परिवारों और प्रियजनों के लिए हम जो दर्द महसूस कर रहे हैं, उसे शब्दों में बयां नहीं किया जा सकता। हम प्रभावित परिवारों की सहायता करने के लिए हर संभव प्रयास करने को पूरी तरह प्रतिबद्ध हैं और इस त्रासदी के कारणों का पता लगाने के लिए अधिकारियों के साथ मिलकर काम कर रहे हैं। इस नुकसान से प्रभावित सभी लोगों के प्रति हमारी संवेदनाएं हैं।’’
उन्होंने कहा कि विमानन कंपनी के साथ-साथ पूरा विमानन उद्योग इस त्रासदी के कारण को जानने के लिए आधिकारिक जांच रिपोर्ट का इंतजार कर रहा है।
विल्सन ने कहा कि 12 जून की दुर्घटना के बाद और नागर विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) के निर्देशानुसार, कंपनी अपने 33 बोइंग 787 विमानों का गहन सुरक्षा निरीक्षण कर रही है।
उन्होंने कहा कि अब तक 26 विमानों का निरीक्षण पूरा हो चुका है और इन्हें परिचालन के लिए मंजूरी दे दी गई है। उन्होंने कहा कि शेष विमान अभी रखरखाव में हैं और सेवा में शामिल किये जाने से पहले इनकी अतिरिक्त जांच की जाएगी।
उन्होंने कहा, ‘‘समीक्षा के बाद, डीजीसीए ने पुष्टि की है कि एअर इंडिया बोइंग 787 बेड़ा और रखरखाव प्रक्रियाएं पूरी तरह से सुरक्षा मानकों को पूरा करती हैं।’’
डीजीसीए ने एअर इंडिया में हाल ही में रखरखाव से संबंधित मुद्दों पर चिंता जताई और एयरलाइन को अंतर-विभागीय समन्वय बढ़ाने का निर्देश दिया। उसने यह भी कहा कि पिछले सप्ताह अहमदाबाद में हुए विमान हादसे के मद्देनजर विमानन कंपनी के बोइंग 787 बेड़े में कोई बड़ी सुरक्षा चिंता सामने नहीं आई।
विमान हादसे के एक दिन बाद, 13 जून को डीजीसीए ने एअर इंडिया के बोइंग 787 बेड़े की निगरानी बढ़ाने का आदेश दिया, जिसमें छब्बीस 787-8 और सात 787-9 शामिल हैं।
एअर इंडिया प्रमुख ने अपने संदेश में कहा, ‘‘ इन बढ़ी हुई सुरक्षा जांच में लगने वाले समय, अतिरिक्त सावधानी बरतने, ईरान और पश्चिम एशिया में हवाई क्षेत्र बंद होने जैसे बाह्य कारकों तथा कुछ अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डों पर रात्रिकालीन प्रतिबंधों और सामान्य विमानन तकनीकी समस्याओं के कारण पिछले कुछ दिनों में हमारे लंबी दूरी के नेटवर्क पर उड़ानों के रद्द होने की संख्या सामान्य से अधिक हो गई है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘हम जानते हैं कि ये व्यवधान निराशाजनक हैं, और असुविधा के लिए हमें वास्तव में खेद है। विश्वास बहाली के उपाय के रूप में विमानन कंपनी अपने बोइंग 787 और 777 बेड़े की उड़ान-पूर्व सुरक्षा जांच और बढ़ा रही है।’’
विल्सन ने कहा कि इन अतिरिक्त जांच में लगने वाले समय और उड़ानों के परिचालन पर संभावित प्रभाव को ध्यान में रखते हुए, एअर इंडिया ने 20 जून से लेकर मध्य जुलाई तक बड़े विमानों वाली अपनी अंतरराष्ट्रीय उड़ानों में लगभग 15 प्रतिशत की कटौती करने का फैसला किया है।
उन्होंने कहा, ‘‘इससे हमें किसी भी अप्रत्याशित समस्या से निपटने के लिए अधिक विमान तैयार रखने में मदद मिलेगी। हमें लगता है कि हमारे उड़ान परिचालन में यह अस्थायी कमी आपकी यात्रा योजनाओं को प्रभावित कर सकती है। हमें किसी भी असुविधा के लिए गहरा खेद है।’’
विल्सन ने कहा कि कंपनी इस त्रासदी से प्रभावित परिवारों की सहायता करने के लिए हर संभव प्रयास करने को पूरी तरह प्रतिबद्ध है और इस विमान दुर्घटना के कारणों का पता लगाने के लिए अधिकारियों के साथ मिलकर काम कर रही है।
उन्होंने कहा, ‘‘हमारी संवेदना इस क्षति से प्रभावित सभी लोगों के साथ है।’’
एअर इंडिया की उड़ान एआई171 में चालक दल के 12 सदस्यों सहित 242 लोग सवार थे। यह विमान 12 जून को अहमदाबाद हवाई अड्डा से उड़ान भरने के कुछ ही मिनट बाद शहर के मेघाणी नगर क्षेत्र में एक मेडिकल छात्रावास परिसर में दुर्घटनाग्रस्त हो गया था। हादसे में, विमान में सवार केवल एक व्यक्ति जीवित बचा।
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