मुंगेर में एएसआई की मौत के मामले में अब तक छह गिरफ्तार
अनवर पारुल
- 15 Mar 2025, 04:48 PM
- Updated: 04:48 PM
मुंगेर, 15 मार्च (भाषा) बिहार के मुंगेर जिले में लोगों के एक समूह द्वारा कथित तौर पर किए गए हमले में सहायक उप निरीक्षक (एएसआई) संतोष कुमार सिंह की मौत से जुड़े मामले में अब तक छह आरोपियों को गिरफ्तार किया जा चुका है। एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने शनिवार को यह जानकारी दी।
अधिकारी बताया कि गिरफ्तार आरोपियों में से एक ने शनिवार को एक पुलिसकर्मी की राइफल छीनकर भागने की कोशिश की, जिसके बाद पुलिस ने भी जवाबी कार्रवाई करते हुए गोली चलाई, जिसमें आरोपी घायल हो गया।
पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) विनय कुमार ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि एएसआई सिंह की हत्या के सिलसिले में छह संदिग्धों को गिरफ्तार किया गया है, जिनमें से एक गुड्डू यादव ने एक पुलिसकर्मी की राइफल छीनकर भागने की कोशिश की, लेकिन पुलिसकर्मियों की जवाबी कार्रवाई में उसके पैर में गोली लग गई और उसे पकड़ लिया गया।
मृतक एएसआई मुंगेर के मुफस्सिल थाने में आपातकालीन डायल नंबर सेवा 112 में तैनात था। उस पर हमला करने वाले लोग कथित तौर पर नशे में थे।
बिहार में अप्रैल 2016 में शराबबंदी कानून लागू किया गया था, जिसके तहत राज्य में शराब का उत्पादन, बिक्री और सेवन प्रतिबंधित है।
डीजीपी ने बताया, “पुलिस जब गिरफ्तार आरोपियों में से एक गुड्डू यादव को अन्य संदिग्धों की पहचान करने के लिए ले जा रही थी, तब उसने एक पुलिसकर्मी की राइफल छीनकर भागने की कोशिश की। यादव ने पुलिसकर्मियों पर गोलीबारी भी की। पुलिसकर्मियों ने भी आत्मरक्षा में गोलियां चलाईं और उसे पकड़ लिया।”
डीजीपी ने कहा कि यादव के पैर में गोली लगी है और उसे सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां उसकी हालत स्थिर बताई जा रही है। उन्होंने कहा कि मामले में शामिल अन्य आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी जारी है।
इसी तरह की एक अन्य घटना में अररिया जिले में बुधवार रात पुलिसकर्मियों और लोगों के एक समूह के बीच हाथापाई के बाद एक एएसआई की मौत हो गई थी। मुंगेर और अररिया में घटी दोनों घटनाओं में लोगों ने डायल-112 से जुड़े एएसआई पर हमला किया।
बिहार के विभिन्न हिस्सों में पुलिसकर्मियों पर हाल ही में हुए हमलों पर टिप्पणी करते हुए डीजीपी ने कहा, “जिले के सभी थानों को निर्देश दिया गया है कि वे ऐसे मामलों में छापेमारी या जांच करने से पहले स्थिति का आकलन करें तथा किसी भी तरह की स्थिति से निपटने के लिए हमेशा पर्याप्त बल के साथ घटनास्थल पर जाएं। इसके अलावा, सभी जिला पुलिस को अपने-अपने अधिकार क्षेत्र में विभिन्न आपराधिक मामलों में वांछित फरार आरोपियों को पकड़ने के लिए अभियान तेज करने का भी निर्देश दिया गया है।”
डीजीपी के मुताबिक, “आपातकालीन प्रतिक्रिया सहायता प्रणाली (ईआरएसएस) भारत सरकार की एक पहल है, जो नागरिकों को 112 पर फोन पर आपात स्थिति में तुरंत मदद हासिल करने की सुविधा देती है। इस नंबर का इस्तेमाल आपात स्थिति में ही करना चाहिए।”
उन्होंने कहा, “डायल-112 की टीम में तीन-चार से ज्यादा कर्मी नहीं होते हैं। लोगों को 112 के कर्मियों के साथ दुर्व्यवहार नहीं करना चाहिए। अगर मामला कानून-व्यवस्था से जुड़ा हुआ है, तो उन्हें कार्रवाई के लिए संबंधित थानों से संपर्क करना चाहिए।”
भाषा
अनवर