महाराष्ट्र: एमएसीटी ने मोटरसाइकिल दुर्घटना में मारे गए व्यक्ति के परिजनों को मुआवजा दिया
रवि कांत रवि कांत देवेंद्र
- 19 Apr 2025, 03:23 PM
- Updated: 03:23 PM
ठाणे, 19 अप्रैल (भाषा) महाराष्ट्र के ठाणे जिले में मोटर दुर्घटना दावा न्यायाधिकरण (एमएसीटी) ने मोटरसाइकिल दुर्घटना में घायल हुए एक व्यक्ति और इस हादसे में मारे गए एक व्यक्ति के परिजनों को क्रमश: 7.40 लाख रुपये और 6.50 लाख रुपये का मुआवजा देने का आदेश दिया है।
एमएसीटी के सदस्य एस एन शाह ने एक टैम्पो के मालिक को क्षतिपूर्ति के लिए उत्तरदायी ठहराया तथा दुर्घटना के समय पॉलिसी के अमान्य होने के कारण बीमा कंपनी को दोषमुक्त कर दिया।
इस मामले में एमएसीटी के आठ अप्रैल के आदेश की एक प्रति शनिवार को उपलब्ध कराई गई।
यह दुर्घटना 19 जनवरी, 2017 को नगर-मुरबाड़ रोड पर उस समय घटित हुई जब पीड़ित विशाल वसंत बारस्कर और दीपेश अर्जुन पावशे मोटरसाइकिल पर यात्रा कर रहे थे। एक टैम्पो ने दोपहिया वाहन को टक्कर मार दी, जिसके कारण पावशे की मौत हो गई और बारस्कर गंभीर रूप से घायल हो गया।
इस मामले में बारस्कर और पावशे के माता-पिता ने अलग-अलग दावा याचिकाएं दायर कीं।
दोनों मामलों में याचिकाकर्ताओं ने आरोप लगाया कि टैम्पो चालक की लापरवाही और तेज गति से वाहन चलाने के कारण दुर्घटना हुई।
टैम्पो चालक के खिलाफ भी आपराधिक मामला दर्ज किया गया। टैम्पो मालिक वर्षा अजीत गोराडे दोनों मामलों में एकपक्षीय रहीं।
वाहन बीमा कंपनी बजाज आलियांज जनरल इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड की ओर से पेश हुए अधिवक्ता ए.के. तिवारी ने तर्क दिया कि दुर्घटना की तारीख को वाहन की बीमा पॉलिसी प्रभावी नहीं थी।
एमएसीटी ने बीमा कंपनी द्वारा प्रस्तुत साक्ष्यों की जांच की, जिसमें उनके गवाहों की गवाही और बीमा पॉलिसी के दस्तावेज भी शामिल थे।
इसमें उल्लेख किया गया कि पॉलिसी का प्रीमियम बीमा कंपनी को 19 जनवरी, 2017 को अपराह्न 3.36 बजे प्राप्त हुआ, जबकि दुर्घटना उसी दिन प्रातः 8.15 से नौ बजे के बीच हुई थी।
बारस्कर को लगी चोटों को ध्यान में रखते हुए न्यायाधिकरण ने उन्हें कुल 7.40 लाख रुपये का मुआवजा देने का आदेश दिया। बारस्कर को लगी चोटों में मस्तिष्क की कई चोटें, चेहरे का फ्रैक्चर, पसलियों का फ्रैक्चर और फेफड़ों की चोटें शामिल थीं,
पावशे के मामले में न्यायाधिकरण ने उसके माता-पिता को 6.50 लाख रुपये का मुआवजा देने का आदेश दिया, जिसमें भविष्य में आश्रित होने की हानि के लिए 5.40 लाख रुपये, संपत्ति की हानि और अंतिम संस्कार के खर्च के लिए 15-15 हजार रुपये तथा संतान पक्ष के लिए 80 हजार रुपये शामिल हैं।
मोटर दुर्घटना दावा न्यायाधिकरण (एमएसीटी) ने टैम्पो मालिक को निर्देश दिया कि वह याचिका दायर करने की तिथि से आठ प्रतिशत वार्षिक ब्याज के साथ एक माह के भीतर मुआवजा राशि जमा कराए।
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