पोप फ्रांसिस का अंतिम संस्कार शनिवार सुबह 10 बजे होगा, बुधवार से लोग कर सकेंगे अंतिम दर्शन
रंजन
- 22 Apr 2025, 08:15 PM
- Updated: 08:15 PM
वेटिकन सिटी, 22 अप्रैल (एपी) पोप फ्रांसिस के निधन के बाद ‘कार्डिनल्स’ ने अपना पहला निर्णय लेते हुए उनका अंतिम संस्कार शनिवार को करना तय किया है, वहीं बुधवार से श्रद्धालु उनके अंतिम दर्शन कर सकेंगे।
फ्रांसिस का उत्तराधिकारी चुनने के लिए एक बैठक शुरू होने से पहले, आगे की प्रक्रिया की रूपरेखा तैयार करने के लिए कार्डिनल्स (प्रमुख पादरी) पहली बार मंगलवार को वेटिकन के धर्मसभा हॉल में मिले।
पोप फ्रांसिस का सोमवार को निधन हो गया था। इतिहास के पहले लैटिन अमेरिकी पोप के निधन के बाद दुनियाभर से शोक संदेश आ रहे हैं।
मौजूदा नियमों के अनुसार, ‘कॉन्क्लेव’ (नये पोप के चयन के लिए वेटिकन की गुप्त प्रक्रिया) पांच और 10 मई के बीच अवश्य शुरू हो जानी चाहिए।
कार्डिनल्स ने सेंट पीटर स्क्वायर में फ्रांसिस के अंतिम संस्कार के लिए शनिवार सुबह 10 बजे का समय तय किया है। इस प्रक्रिया को ‘कॉलेज ऑफ कार्डिनल्स’ के डीन कार्डिनल गियोवानी बतिस्ता रे संपन्न कराएंगे।
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने घोषणा की है कि वह और उनकी पत्नी मेलानिया ट्रंप शनिवार को पोप फ्रांसिस के अंतिम संस्कार में शामिल होने की योजना बना रहे हैं। अर्जेंटीना के राष्ट्रपति जेवियर मिली भी इसमें शामिल हो सकते हैं।
फ्रांसिस का सोमवार को 88 वर्ष की आयु में निधन हो गया। निमोनिया के कारण पांच सप्ताह तक अस्पताल में भर्ती रहने के बाद वह अपने अपार्टमेंट में स्वास्थ्य लाभ ले रहे थे।
वह रविवार को अंतिम बार सार्वजनिक रूप से सामने आए थे और उन्होंने ईस्टर के आशीर्वाद के साथ अनुयायियों का अंतिम अभिवादन किया था।
वेटिकन ने पोप फ्रांसिस के निधन के बाद मंगलवार को उनकी पहली तस्वीर जारी की जिसमें लकड़ी के ताबूत में रखी उनकी पार्थिव देह के साथ ही प्रार्थना करते हुए वेटिकन के ‘सेक्रेटरी ऑफ स्टेट’ को देखा जा सकता है।
पोप फ्रांसिस की पार्थिव देह को लाल रंग के वस्त्र से ढके लकड़ी के ताबूत में देखा जा सकता है जिसके साथ उनकी पादरी टोपी (माइटर) रखी है और वेटिकन के ‘सेक्रेटरी ऑफ स्टेट’ प्रार्थना कर रहे हैं। यह तस्वीर डोमुस सेंटा मार्टा होटल के चैपल की है जहां पोप रहते थे।
वेटिकन के ‘कैमरलेंगो’ द्वारा फ्रांसिस के निधन की घोषणा के बाद दुनिया भर के चैपल, चर्च और कैथेड्रल में घंटियां बजाई गईं और इटली, भारत, ताइवान और अमेरिका में झंडे आधे झुके रहे।
कैमरलेंगो की पदवी उन कार्डिनल या उच्चस्तरीय पादरी को दी जाती है जो पोप के निधन या उनके इस्तीफे की घोषणा के लिए अधिकृत होते हैं।
अर्जेंटीना मूल के पोप के सम्मान में इटली और अर्जेंटीना में फुटबॉल मैच स्थगित कर दिए गए। फ्रांसिस सैन लोरेंजो फुटबॉल क्लब के बड़े प्रशंसक थे।
विश्व के नेताओं ने फ्रांसिस के नैतिक नेतृत्व और करुणा के लिए उनकी प्रशंसा की, वहीं आम धर्मावलंबियों ने उनकी सादगी एवं मानवीय गुणों को याद किया।
पूर्वी तिमोर के राष्ट्रपति जोस रामोस-होर्ता ने फ्रांसिस के साहस की प्रशंसा करते हुए कहा, ‘‘पोप फ्रांसिस एक बहादुर व्यक्ति थे जो दुनिया के उन शासकों के खिलाफ बोलने से नहीं डरते थे जो युद्ध चाहते हैं, लेकिन शांति नहीं चाहते।’’
नाइजीरिया के राष्ट्रपति बोला टीनुबू ने कहा, ‘‘उन्होंने शक्तिशाली लोगों को न्याय के साथ काम करने की चुनौती दी, राष्ट्रों से अजनबियों का स्वागत करने का आह्वान किया, और हमें याद दिलाया कि हमारा साझा घर - यह पृथ्वी - एक उपहार है जिसे हमें भविष्य की पीढ़ियों के लिए संरक्षित करना चाहिए।’’
टीनुबू मुस्लिम समुदाय से हैं। नाइजीरिया, अफ्रीका की सर्वाधिक आबादी वाला देश है और वहां करीब तीन करोड़ मुस्लिम रहते हैं जो उसकी आबादी का लगभग 14 प्रतिशत है।
अगले पोप बनने के लिए प्रमुख दावेदार माने जाने वाले इटालियन बिशप्स कॉन्फ्रेंस के प्रमुख कार्डिनल मैटेओ जुप्पी ने कहा, ‘‘उन्होंने (फ्रांसिस ने) खुद को अंत तक समर्पित रखा....सभी से मिलने के लिए बाहर जाने, सभी से बात करने, हमें सभी से बात करना सिखाने, सभी को आशीर्वाद देने के लिए।’’
अगले पोप का चुनाव:
फ्रांसिस के अंतिम संस्कार के बाद नौ दिन तक राजकीय शोक रहेगा जिसे ‘नोवेंडियाली’ के रूप में जाना जाता है। इस अवधि के दौरान, कार्डिनल रोम पहुंचते हैं और कॉन्क्लेव से पहले निजी तौर पर मिलते हैं।
सभी को इकट्ठा होने का समय देने के लिए, ‘सीट रिक्त’ होने की घोषणा के लिहाज से कॉन्क्लेव को 15 से 20 दिन बाद शुरू होना चाहिए, हालांकि कार्डिनल के सहमत होने पर यह पहले भी शुरू हो सकता है।
एक बार कॉन्क्लेव शुरू होने के बाद, कार्डिनल सिस्टिन चैपल में गोपनीय सत्रों में मतदान करते हैं। मतदान सत्रों के बाद, मतपत्रों को एक विशेष चूल्हे पर जला दिया जाता है। काला धुआं यह दर्शाता है कि कोई पोप नहीं चुने गए हैं, जबकि सफेद धुआं यह दर्शाता है कि कार्डिनल ने कैथलिक चर्च के अगले प्रमुख को चुन लिया है।
जिसे दो-तिहाई वोट मिलते हैं, वह विजयी होते हैं। यदि वह स्वीकार कर लेते हैं, तो उनके चुनाव की घोषणा सेंट पीटर बेसिलिका के लॉजिया (एक विशेष स्थान) से एक कार्डिनल द्वारा की जाती है, जो दुनिया को लैटिन भाषा में ‘हैबेमस पापम’ का संदेश देते हैं, जिसका अर्थ है ‘हमारे पोप चुन लिए गए हैं।’
एपी सुभाष