पुरी में भगदड़ में मरने वालों का सही आंकड़ा बताया जाए, मुख्यमंत्री माझी इस्तीफा दें: कांग्रेस
हक मनीषा
- 30 Jun 2025, 02:20 PM
- Updated: 02:20 PM
नयी दिल्ली, 30 जून (भाषा) कांग्रेस ने सोमवार को कहा कि ओडिशा के पुरी में भगदड़ में मारे गए लोगों का सही आंकड़ा जारी करना चाहिए और घटना की जिम्मेदारी लेते हुए मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी को इस्तीफा देना चाहिए।
पार्टी नेता और सांसद सप्तगिरि उलाका ने यह आरोप भी लगाया कि भगवान जगन्नाथ की रथ यात्रा को ‘इवेंट मैनेजमेंट’ बना दिया गया है।
ओडिशा के पुरी में श्री गुंडिचा मंदिर के निकट रविवार को मची भगदड़ में कम से कम तीन लोगों की मौत हो गयी और लगभग 50 अन्य घायल हो गए।
अधिकारियों ने बताया कि यह घटना तड़के लगभग चार बजकर 20 मिनट पर हुई जब हजारों श्रद्धालु रथ यात्रा उत्सव देखने के लिए मंदिर के निकट एकत्र हुए थे।
उलाका ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘कोरोना काल में भी रथ यात्रा निकाली गई थी, लेकिन जो इस साल की रथ यात्रा हुई, वह एक जगह रुक गई, ऐसा पहली बार हुआ। इसके पीछे कारण यह था कि रथ यात्रा के दौरान लगभग 5,000 ‘कॉर्डन पास’ लोगों को बांटे गए। इनमें विधायक, सांसद जैसे लोग शामिल थे। यही कारण था कि रथ यात्रा की गति धीमी पड़ गई।’’
उन्होंने कहा, ‘‘दुख की बात है कि खुद मुख्य प्रशासक ने कहा कि सारे भक्त अभी आए नहीं हैं। पता नहीं, आखिर वे किस भक्त की बात कर रहे थे?’’
कांग्रेस सांसद ने कहा कि एक बड़े उद्योगपति के आने को लेकर भी चर्चा थी और ऐसे में सवाल है कि क्या ‘रथ यात्रा’ इस कारण रोकी गई?
उलाका ने कहा, ‘‘यह दुख की बात है कि मुख्यमंत्री और प्रशासन के तमाम दावों के बावजूद 700 से ज्यादा लोग घायल हो गए और सात लोगों की मृत्यु हो गई।’’
उन्होंने दावा किया, ‘‘प्रभु जगन्नाथ की रथ यात्रा में न तो प्रभु का आदर किया गया और न उनके भक्तों का। वहां सिर्फ सरकार के मंत्री और नेताओं को वीआईपी सुविधा दी गई।’’
कांग्रेस नेता ने आरोप लगाया कि भाजपा सरकार ने रथ यात्रा को ‘इवेंट मैनेजमेंट’ में बदल दिया है।
उलाका ने कहा, ‘‘इस घटना में कितने लोगों की मृत्यु हुई, उसका आंकड़ा जारी हो। जिन लोगों की मृत्यु हुई है, उनके आश्रितों को 50 लाख रुपये की मदद दी जाए। जो गंभीर रुप से घायल हैं, उनको 25 लाख रुपये दिए जाएं। मुख्यमंत्री मोहन चरण मांझी और उप मुख्यमंत्री (केवीएस देव और पार्वती परीदा) जिम्मेदारी लेकर इस्तीफा दें।’’
उन्होंने यह भी कहा, ‘‘घटना की न्यायिक जांच कराई जाए ओर जिम्मेदारों को जेल भेजा जाए। सरकार जनता को आश्वासन दे कि आगे इस तरह की घटना नहीं होगी। प्रबंधन में जो भूल हुई है, उसके लिए भाजपा सरकार प्रभु जगन्नाथ से माफी मांगे।’’
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