सिक्किम विधानसभा ने लोकायुक्त (संशोधन) विधेयक पारित किया
सुरभि नोमान
- 30 Jun 2025, 04:13 PM
- Updated: 04:13 PM
गंगटोक, 30 जून (भाषा) सिक्किम विधानसभा ने ‘सिक्किम लोकायुक्त (संशोधन) विधेयक, 2025’ सोमवार को पारित कर दिया।
एक दिवसीय सत्र के दौरान ‘स्कॉलर्स यूनिवर्सिटी ऑफ स्किल्स एंड इनोवेशन, सिक्किम विधेयक, 2025’ को भी सदन के पटल पर पेश किया गया।
विधि मंत्री राजू बसनेत ने विधानसभा अध्यक्ष एम. एन. शेरपा की अनुमति से सदन में संशोधन विधेयक पेश किया, जिसमें लोकायुक्त के अध्यक्ष और अन्य सदस्यों के कार्यकाल के विस्तार के लिए सिक्किम लोकायुक्त अधिनियम, 2014 की धारा पांच में संशोधन का प्रस्ताव किया गया है।
उन्होंने कहा कि ‘सिक्किम लोकायुक्त अधिनियम, 2014’ में 2018 में संशोधन किया गया था, जिसमें लोकायुक्त के अध्यक्ष और सदस्यों के कार्यकाल के विस्तार के संबंध में धारा पांच को शामिल किया गया था, लेकिन कार्यकाल विस्तार के उक्त प्रावधान को सिक्किम लोकायुक्त (संशोधन) अधिनियम, 2019 द्वारा हटा दिया गया।
विधि मंत्री ने सिक्किम लोकायुक्त (संशोधन), विधेयक 2025 के उद्देश्यों पर विस्तार से बताते हुए कहा कि निरंतरता सुनिश्चित करने और अध्यक्ष तथा सदस्यों को लंबित मामलों से निपटने के वास्ते पर्याप्त समय देने के लिए राज्य सरकार सिक्किम लोकायुक्त अधिनियम, 2014 की धारा पांच में संशोधन करना उचित समझती है, ताकि अध्यक्ष तथा लोकायुक्त के सदस्यों के कार्यकाल के विस्तार का प्रावधान जोड़ा जा सके।
इसके बाद सदन ने विधेयक पर विचार किया तथा उसे ध्वनिमत से पारित कर दिया।
बसनेत के पास शिक्षा विभाग का प्रभार भी है। इसके बाद उन्होंने ‘स्कॉलर्स यूनिवर्सिटी ऑफ स्किल एंड इनोवेशन, सिक्किम विधेयक, 2025’ पेश किया।
उन्होंने कहा कि इस विधेयक का उद्देश्य विश्वस्तरीय बुनियादी ढांचे और अंतरराष्ट्रीय नेटवर्किंग के माध्यम से सिक्किम में कौशल और उद्यमशीलता पाठ्यक्रमों में उच्च शिक्षा प्रदान करना है।
मंत्री ने कहा कि विश्वविद्यालय नामची जिले के मेली में स्थापित करने का प्रस्ताव है।
विधानसभा अध्यक्ष ने कहा कि ‘स्कॉलर्स यूनिवर्सिटी ऑफ स्किल एंड इनोवेशन, सिक्किम विधेयक, 2025’ पर चर्चा एवं मतदान सदन के अगले सत्र के दौरान होगा।
मुख्यमंत्री प्रेम सिंह तमांग ने वित्तीय वर्ष 2023 और 2024 के लिए पंचायती राज संस्थाओं और नगर पालिकाओं के वास्ते वार्षिक समेकित लेखापरीक्षा रिपोर्ट प्रस्तुत की। उनके पास ही वित्त विभाग का प्रभार है।
इसके बाद सदन को अनिश्चित काल के लिए स्थगित कर दिया गया।
भाषा सुरभि