आंध्र प्रदेश में शीर्ष नक्सली कमांडर हिडमा समेत छह माओवादी मुठभेड़ में ढेर
संतोष मनीषा
- 18 Nov 2025, 04:04 PM
- Updated: 04:04 PM
मरेदुमिल्ली (आंध्र प्रदेश), 18 नवंबर (भाषा) आंध्र प्रदेश के अल्लूरी सीतारामराजू जिले में मंगलवार को सुरक्षाकर्मियों के साथ मुठभेड़ में शीर्ष नक्सली कमांडर माडवी हिडमा और उसकी पत्नी समेत छह माओवादी मारे गए। पुलिस के एक अधिकारी ने यह जानकारी दी।
कई हमलों के कथित सूत्रधार हिडमा की मौत को छत्तीसगढ़ पुलिस ने उग्रवाद के ‘ताबूत में आखिरी कील’ करार दिया।
अल्लूरी सीतारामराजू जिले के पुलिस अधीक्षक (एसपी) अमित बरदार ने बताया कि मुठभेड़ सुबह साढ़े छह से सात बजे के बीच मरेदुमिल्ली मंडल के जंगली इलाके में हुई।
एक आधिकारिक प्रेस विज्ञप्ति में कहा गया, ‘‘आज सुबह साढ़े छह से सात बजे के बीच मरेदुमिल्ली मंडल इलाके में माओवादियों और पुलिस दल के बीच गोलीबारी हुई। मुठभेड़ के दौरान छह माओवादी मारे गए।’’
इस गोलीबारी में दो महिलाएं और चार पुरुष मारे गए। विश्वसनीय सूत्रों और जांच के आधार पर पुलिस ने पुष्टि की कि हिडमा, उसकी पत्नी मदकम राजे, देवे, लकमल (चैतू), मल्ला (मल्लालु) और कमलू (कमलेश) मारे गए।
पुलिस ने बताया कि पिछले कुछ हफ़्तों में मिली ख़ुफिया सूचनाओं से आंध्र प्रदेश-छत्तीसगढ़-ओडिशा सीमा पर माओवादी गतिविधियों में वृद्धि के संकेत मिले थे, जिसके कारण तलाशी अभियान तेज कर दिया गया था।
मुठभेड़ के बाद पुलिस ने दो एके-47 राइफल, एक पिस्तौल, एक रिवॉल्वर और एक सिंगल बोर हथियार, कई इलेक्ट्रिकल और नॉन-इलेक्ट्रिकल डेटोनेटर, फ्यूज वायर, सात किट बैग और अन्य सामान जब्त किया।
विज्ञप्ति में कहा गया, ‘‘आसपास के इलाकों में पूरी तरह से सफाए के लिए तलाशी अभियान जारी है ताकि आगे माओवादी गतिविधियों को रोका जा सके।’’
एसपी के अनुसार, यह पुलिस विभाग की विभिन्न शाखाओं द्वारा चलाया गया एक संयुक्त अभियान था।
एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए आंध्र प्रदेश खुफिया विभाग के एडीजीपी महेश चंद्र लड्डा ने कहा कि छत्तीसगढ़ में लगातार दबाव के कारण कुछ बटालियनों के माओवादी आंध्र प्रदेश में जाने की योजना बना रहे थे।
इसके मद्देनजर पुलिस उनकी गतिविधियों पर कड़ी और निरंतर नज़र रख रही थी।
लड्डा ने कहा, ‘‘पिछले दो दिनों से हमें बहुत ही विशिष्ट खुफिया जानकारी मिल रही थी कि कुछ शीर्ष माओवादी नेता राज्य में प्रवेश कर रहे हैं और आंदोलन को पुनर्जीवित करने की योजना बना रहे हैं।’’
उन्होंने कहा कि छहों माओवादियों के शवों को पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया गया है और उसके बाद आवश्यक कार्रवाई की जाएगी।
इसके अलावा एनटीआर, कृष्णा, काकीनाडा और एलुरु जैसे अन्य जिलों में पुलिस की निगरानी के कारण प्रतिबंधित संगठन के 31 और सदस्यों को गिरफ्तार किया गया।
लड्डा ने कहा कि गिरफ्तार किए गए 31 लोगों में से नौ केंद्रीय समिति के सदस्य देवजी के सुरक्षा गार्ड थे, जबकि बाकी अन्य बटालियन के थे।
अधिकारी के अनुसार, यह भी बताया गया है कि कुछ माओवादी मुठभेड़ स्थल से भागने में सफल रहे और फिलहाल तलाशी अभियान जारी है।
इस बीच, छत्तीसगढ़ पुलिस ने हिडमा की मौत को उग्रवाद के ‘ताबूत में आखिरी कील’ करार दिया है। उसने पिछले दो दशकों में कई हमलों की साजिश रची थी।
छत्तीसगढ़ के सुकमा जिले के पूवर्ती गांव का मूल निवासी हिडमा की उम्र और उसका रूप-रंग इस साल की शुरुआत में उसकी तस्वीर सामने आने तक पहेली बना रहा।
अधिकारियों ने बताया कि वह कई वर्षों से माओवादियों की ‘पीपुल्स लिबरेशन गुरिल्ला आर्मी’ (पीएलजीए) की बटालियन नंबर-एक का नेतृत्व कर रहा था, जो दंडकारण्य में संगठन का सबसे मजबूत सैन्य दस्ता है।
दंडकारण्य बस्तर के अलावा आंध्र प्रदेश, ओडिशा, तेलंगाना और महाराष्ट्र के कुछ हिस्सों में फैला हुआ है।
भाषा संतोष