दिल्ली पुलिस ने अंतरराज्यीय ड्रग गिरोह का भंडाफोड़ किया; चार अफ्रीकी नागरिक गिरफ्तार
सुरेश माधव
- 19 Nov 2025, 08:24 PM
- Updated: 08:24 PM
नयी दिल्ली, 19 नवंबर (भाषा) दिल्ली पुलिस ने एक अंतरराज्यीय मादक तस्कर गिरोह के अफ्रीकी मूल के चार सदस्यों को गिरफ्तार किया है, जिनमें एक महिला भी शामिल है।
एक अधिकारी ने बताया कि उनके पास से 20 किलोग्राम से अधिक मेथामफेटामाइन और 700 गोलियां बरामद की गईं, जिनकी अंतरराष्ट्रीय बाजार में कीमत 100 करोड़ रुपये है।
उनके कब्जे से एक सचल लैब मिली, जिसे जगह-जगह ले जाकर मादक पदार्थ बनाने में इस्तेमाल की जा सकती थी।
अधिकारी ने बताया कि आरोपियों की पहचान एज़ेबुएनेई एस्तेर ओसिता उर्फ एला (45), चार्ल्स चिमुअन्या एबेरोनवु उर्फ अमोरका (32), चिनोये इमैनुएल (46) और दियारा इद्रिस उर्फ व्हाइट मनी (38) के रूप में हुई है। इन्हें एक से सात नवंबर के बीच की गई विभिन्न छापेमारियों में गिरफ्तार किया गया।
पुलिस ने बताया कि चारों बिना वैध यात्रा दस्तावेजों के भारत में अवैध रूप से रह रहे थे।
पुलिस उपायुक्त (विशेष प्रकोष्ठ) आलाप पटेल ने एक बयान में कहा, ‘‘यह गिरोह दिल्ली-एनसीआर, बेंगलुरु और मुंबई में सक्रिय था और कूरियर एवं लंबी दूरी की ट्रेनों के ज़रिये मेथामफेटामाइन के निर्माण, परिवहन और आपूर्ति में शामिल था।’’
पुलिस ने छापेमारी के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि उन्हें एक नवंबर को एक विशेष सूचना मिली थी कि दिल्ली में रहने वाले अफ्रीकी मूल के लोग बड़े पैमाने पर मेथामफेटामाइन की तस्करी में शामिल हैं।
सूचना के आधार पर, एक टीम ने आधी रात के आसपास धौला कुआं बस स्टैंड के पास जाल बिछाया।
लाल ट्रॉली बैग लिये एला को स्वापक औषधि एवं मन:प्रभावी पदार्थ (एनडीपीएस) अधिनियम के प्रावधानों के अनुसार रोका गया और उसकी तलाशी ली गई।
डीसीपी ने कहा, ‘‘टीम ने प्लास्टिक के पैकेटों में छिपाकर रखी गई 17.146 किलोग्राम मेथामफेटामाइन और 440 ग्राम वजन की 700 नशीली गोलियां बरामद कीं। उसने टीम को बताया कि वह दिल्ली में अफ्रीकी नागरिकों द्वारा संचालित एक मादक पदार्थ नेटवर्क के लिए काम करती है और इदरीस नाम के एक व्यक्ति को यह खेप पहुंचाने के लिए बेंगलुरु जा रही थी।’’
उसके खुलासे के आधार पर, विशेष प्रकोष्ठ ने पांच नवंबर को छापेमारी की और चंदर विहार इलाके से अमोरका को गिरफ्तार कर लिया, उसके पास से तीन किलोग्राम मेथामफेटामाइन बरामद किया। कार्रवाई के दौरान, पुलिस ने सचल अस्थायी प्रयोगशाला में प्रीकर्सर रसायन, सॉल्वैंट्स, कैल्शियम क्लोराइड, मेथनॉल और मेथामफेटामाइन के संश्लेषण में इस्तेमाल होने वाले अन्य उपकरण मौजूद थे।
इसके बाद कथित तौर पर मोबाइल लैब चलाने वाले चिनोये इमैनुएल को छह नवंबर को गिरफ्तार कर लिया गया। पुलिस ने बताया कि उस पर अमोरका की मदद से मादक पदार्थ बनाने का संदेह है।
सात नवंबर को इदरीस का पता लगाया गया और उसे बेंगलुरु में गिरफ्तार कर लिया गया।
पुलिस ने कहा कि मामले की आगे की जांच जारी है।
भाषा सुरेश