विपक्ष के हंगामे के कारण लोकसभा में व्यवधान, कार्यवाही दो बजे तक स्थगित
वैभव माधव
- 23 Jul 2025, 12:30 PM
- Updated: 12:30 PM
नयी दिल्ली, 23 जुलाई (भाषा) विपक्षी दलों के सांसदों ने बिहार में जारी मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) की कवायद और कुछ अन्य मुद्दों को लेकर बुधवार को भी लोकसभा में हंगामा किया जिसके कारण सदन की कार्यवाही एक बार के स्थगन के बाद दोपहर दो बजे तक स्थगित कर दी गई।
लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने हंगामा कर रहे सदस्यों को कड़े शब्दों में चेतावनी दी कि सदन में तख्तियां लेकर आने वाले सांसदों पर उन्हें निर्णायक कार्रवाई करनी पड़ेगी।
एक बार के स्थगन के बाद 12 बजे सदन की बैठक पुन: शुरू हुई तो पीठासीन सभापति संध्या राय ने आवश्यक कागजात सदन में प्रस्तुत कराए। इस बीच विपक्षी दलों के सदस्य आसन के समीप आकर नारेबाजी करने लगे।
पीठासीन सभापति संध्या राय ने नारेबाजी कर रहे सदस्यों से अपने स्थान पर जाने और सदन की कार्यवाही चलने देने का आग्रह करते हुए कहा, ‘‘ आप सभी बहुत वरिष्ठ सदस्य हैं। सदन की गरिमा, मर्यादा को समझते हैं और विपक्ष की भूमिका जानते हैं।’’
उन्होंने प्रश्नकाल में हुए व्यवधान का उल्लेख करते हुए कहा कि आज लगातार तीसरे दिन शोर-शराबे के कारण रेलवे जैसे महत्वपूर्ण विषयों पर प्रश्न नहीं पूछे जा सके।
राय ने कहा, ‘‘पूरा देश आपको देख रहा है। सरकार आपके उठाए गए विषयों पर चर्चा चाहती है। आपका आचरण सदन की गरिमा के अनुरूप नहीं है।’’
हंगामे के बीच ही खेल मंत्री मनसुख मांडविया ने राष्ट्रीय खेल शासन विधेयक, 2025 और राष्ट्रीय डोपिंग रोधी संशोधन विधेयक 2025 सदन में पेश किए।
शोर-शराबा समाप्त नहीं होने पर पीठासीन सभापति ने बैठक दो बजे तक स्थगित कर दी।
इससे पहले मानसून सत्र के तीसरे दिन निचले सदन की कार्यवाही आरंभ होते ही विपक्षी दलों के सदस्य हंगामा करने लगे। विपक्षी सांसदों ने आसन के निकट पहुंचकर नारेबाजी की और तख्तियां लहराईं, जिन पर एसआईआर विरोधी नारे लिखे हुए थे।
उन्होंने बिहार में एसआईआर की कवायद, पहलगाम आतंकी हमले, ऑपरेशन सिंदूर को रोकने और अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के मध्यस्थता संबंधी दावों समेत कुछ विषयों पर चर्चा की मांग करते हुए हंगामा किया।
सदन में शोर-शराबे के बीच ही रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने प्रश्नकाल के दौरान कुछ पूरक प्रश्नों के उत्तर दिए।
लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने विपक्षी सदस्यों ने अपने स्थान पर जाने और सदन चलने देने की अपील की।
उन्होंने विपक्षी सदस्यों से कहा, ‘‘संसद और संसद परिसर के अंदर आपका व्यवहार, आचरण और कार्यपद्धति मर्यादित होने चाहिए। देश की जनता ने आप लोगों को अपनी आवाज, जनता की कठिनाई, चुनौतियों, देश से जुड़ें मुद्दों और नीतियों पर चर्चा के लिए भेजा है।’’
हंगामा नहीं थमने पर उन्होंने करीब 11 बजकर 10 मिनट पर सदन की कार्यवाही दोपहर 12 बजे तक के लिए स्थगित कर दी।
भाषा वैभव