नारायणपुर में मुठभेड़ के बाद सुरक्षाबलों ने भारी मात्रा में हथियार और गोला-बारूद बरामद किया
सं संजीव नरेश
- 29 Aug 2025, 08:12 PM
- Updated: 08:12 PM
नारायणपुर, 29 अगस्त (भाषा) छत्तीसगढ़ के नारायणपुर जिले के अबूझमाड़ जंगल में नक्सलियों के साथ कई मुठभेड़ों के बाद सुरक्षाबलों ने भारी मात्रा में हथियार, गोला-बारूद और अन्य सामान बरामद किया है। पुलिस अधिकारियों ने शुक्रवार को यह जानकारी दी।
अधिकारियों ने बताया कि बरामद हथियारों में एक टिर्ची असॉल्ट राइफल (टीएआर) भी शामिल है, जो एक भारतीय असॉल्ट राइफल है तथा बस्तर क्षेत्र में पहली बार माओवादियों से यह हथियार बरामद किया गया है।
पुलिस अधिकारियों ने बताया कि नक्सलियों की मौजूदगी की सूचना पर सुरक्षाबलों के एक संयुक्त दल ने 24 अगस्त को अबूझमाड़ के कसोड़, कुमुरादी, मडोड़ा, खोड़पार और गट्टाकल गांव के जंगल में नक्सल-विरोधी अभियान शुरू किया था।
उन्होंने बताया कि इस अभियान में जिला रिजर्व गार्ड (डीआरजी), राज्य पुलिस की दोनों इकाइयों स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) और भारत तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) की 38वीं, 41वीं और 45वीं बटालियन के जवान शामिल थे।
अधिकारियों ने बताया कि पांच दिनों तक चले इस अभियान के दौरान इलाके में सुरक्षाकर्मियों और नक्सलियों के बीच कई बार गोलीबारी हुई।
उन्होंने बताया कि अभियान के दौरान कोहकामेटा थाना क्षेत्र के अंतर्गत एक जंगली पहाड़ी पर सुरक्षाबलों की माओवादियों की माड़ डिवीजन के सदस्यों के साथ एक बड़ी मुठभेड़ हुई।
अधिकारियों ने बताया कि मुठभेड़ स्थलों से तीन सौ से अधिक वस्तुएं बरामद की गई हैं, जिनमें एक लाइट मशीन गन (एलएमजी), एक टिर्ची असॉल्ट राइफल (टीएआर), एक सेल्फ लोडिंग राइफल (एसएलआर), एक इंसास राइफल, एक स्टेन गन, एक 51 मिमी मोर्टार, नौ मिमी पिस्तौल, एक देसी पिस्तौल, आठ बैरल ग्रेनेड लांचर (बीजीएल), तीन .303 राइफल, चार 12 बोर राइफल, 49 मज़ल लोडिंग बंदूकें, .315 बोर राइफल के 10 जिंदा राउंड, 23 बीजीएल गोले (बड़े आकार के), 63 बीजीएल गोले (मध्यम आकार के), 14 बीजीएल गोले (छोटे आकार के), आठ देसी ग्रेनेड, एक हथगोला, कॉर्डेक्स तार के दो बंडल, सुरक्षा फ्यूज के 141 बंडल, जीपीएस उपकरण, डेटोनेटर, रिमोट स्विच, गोला-बारूद, विस्फोटक सामग्री और अन्य माओवादी संबंधित वस्तुएं शामिल हैं।
बस्तर रेंज के पुलिस महानिरीक्षक सुंदरराज पी ने बताया, ''बस्तर क्षेत्र (जिसमें सात जिले शामिल हैं) में पहली बार माओवादियों से टिर्ची असॉल्ट राइफल बरामद की गई। इस हथियार का इस्तेमाल क्षेत्र में तैनात सुरक्षाकर्मी करते हैं।''
उन्होंने कहा कि यह हथियार शायद पहले सुरक्षाबलों से लूटा गया होगा। इसके स्रोत का पता लगाने के प्रयास जारी हैं।
सुंदरराज ने कहा कि लगातार बारिश और उफनती नदियों के बावजूद, अबूझमाड़ में सुरक्षाबलों द्वारा चलाए गए इस अभियान ने माओवादियों को भारी मनोवैज्ञानिक और रणनीतिक झटका दिया है।
उन्होंने कहा कि इस अभियान ने माओवादियों को स्पष्ट संदेश दिया है कि अबूझमाड़ का कोई भी हिस्सा अब उनके लिए सुरक्षित नहीं है, क्योंकि उनके ठिकाने तेजी से सिकुड़ रहे हैं। सुरक्षाबलों के अभियानों के कारण प्रतिबंधित माओवादी संगठन के शीर्ष नेतृत्व को 2025 में भारी नुकसान हुआ है।
पुलिस अधिकारी ने कहा कि प्रतिबंधित संगठन के पास हिंसा छोड़ने और आत्मसमर्पण करने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचा है।
भाषा सं संजीव