द.अफ्रीका के राष्ट्रपति ने मोदी, अन्य नेताओं का नए वैश्विक जल मंच में स्वागत किया
राखी अविनाश रंजन मनीषा
- 14 Aug 2025, 04:00 PM
- Updated: 04:00 PM
जोहान्सबर्ग, 14 अगस्त (भाषा) दक्षिण अफ्रीका के राष्ट्रपति सिरिल रामफोसा ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और अन्य वैश्विक नेताओं का नए वैश्विक जल मंच ‘ग्लोबल आउटलुक काउंसिल ऑन वाटर इन्वेस्टमेंट्स’ पर स्वागत किया और कहा कि जल निवेश को अब जलवायु और वित्त संबंधी चर्चाओं से पीछे नहीं रखा जाना चाहिए।
रामफोसा ने मोदी और अन्य विश्व नेताओं को 'ग्लोबल आउटलुक काउंसिल ऑन वाटर इन्वेस्टमेंट्सइस' परिषद के सदस्य के तौर पर आमंत्रित किया। यह जी20 की एक पहल है जिसका उद्देश्य सभी के लिए स्वच्छ जल सुनिश्चित करना है।
रामफोसा ने केप टाउन में बुधवार को ‘अफ्रीका जल निवेश शिखर सम्मेलन’ का उद्घाटन किया। इस दौरान उन्होंने कहा, ‘‘ग्लोबल आउटलुक काउंसिल ऑन वाटर इन्वेस्टमेंट्स का आगाज अफ्रीका जल निवेश कार्यक्रम को एक वैश्विक जल निवेश मंच में बदल देगा।’’
यह सम्मेलन वर्ष 2025 में दक्षिण अफ्रीका की जी20 अध्यक्षता के तहत आयोजित किया गया।
रामफोसा ने कहा, ‘‘आज हम स्पष्ट रूप से कहते हैं कि जल निवेश को अब जलवायु और वित्तीय चर्चाओं के बाद में सोचने वाली बात नहीं माना जाना चाहिए। यह चर्चाओं के केंद्र में होना चाहिए। इसका वित्तपोषण और समर्थन किया जाना चाहिए।’’
उन्होंने कहा कि नवगठित मंच दुनिया का प्रमुख उच्च स्तरीय राजनीतिक और निवेश मंच होगा जो प्रगति पर नजर रखेगा, वित्त उपलब्ध कराएगा, वार्षिक रिपोर्ट देगा और जी20, संयुक्त राष्ट्र, बहुपक्षीय विकास बैंकों और निजी क्षेत्र के बीच प्रयासों को समन्वित करेगा।
अफ्रीका जल निवेश शिखर सम्मेलन एक घोषणा-पत्र को मंजूरी देगा जिसमें देशों से निवेश बढ़ाने, शासन सुधारने और जल क्षेत्र में जवाबदेही बढ़ाने की प्रतिबद्धता सुनिश्चित की जाएगी।
सम्मेलन के अन्य उद्देश्यों में जल को जी20 और सीओपी30 से लेकर संयुक्त राष्ट्र 2026 जल सम्मेलन और आगे तक वैश्विक राजनीतिक और वित्तीय एजेंडे के शीर्ष पर रखना शामिल है।
रामफोसा ने कहा, ‘‘आइए, हम एक ऐसी दुनिया बनाएं, जहां जल को मानव अधिकार के रूप में मान्यता दी जाए और महिलाओं, बच्चों और समुदायों के खिलाफ 'हथियार' के रूप में इस्तेमाल न किया जाए। यदि हम साथ आगे बढ़ेंगे, तो जल केवल जीवित रहने का साधन नहीं बल्कि आर्थिक परिवर्तन, नवाचार और शांति का प्रेरक बन सकता है।’’
प्रधानमंत्री मोदी के अलावा, दक्षिण अफ्रीकी राष्ट्रपति ने ब्राजील के राष्ट्रपति लूला डी सिल्वा, मेक्सिको की राष्ट्रपति क्लाउडिया शीनबाम, सऊदी अरब के युवराज (क्राउन प्रिंस) मुहम्मद बिन सलमान, ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री एंथोनी अल्बनीज और ब्रिटेन के प्रधानमंत्री कीर स्टॉर्मर को परिषद का सदस्य बनाया गया हैं।
जर्मनी के चांसलर फ्रेडरिक मर्ज, इटली की प्रधानमंत्री जॉर्जिया मेलोनी, यूरोपीय आयोग की अध्यक्ष उर्सुला वॉन डेर लेयेन, अंगोला के राष्ट्रपति जोआओ लोरेन्सो एवं अफ्रीकी संघ के अध्यक्ष और सेनेगल के राष्ट्रपति बासिरू डियोमाये को भी परिषद का सदस्य बनाया गया है।
भाषा राखी अविनाश रंजन