हिसार में 20 से अधिक गायों की मौत; हलवा, पूरी जैसे खाद्य पदार्थ को माना जा रहा है संदिग्ध कारण
अमित अविनाश
- 23 Sep 2025, 09:24 PM
- Updated: 09:24 PM
हिसार, 23 सितंबर (भाषा) हरियाणा के हिसार में पिछले तीन दिनों में 20 से अधिक गायें मृत पाई गईं। ये खुली छोड़ दी गई गायें थीं और इनकी मौत का कारण लोगों द्वारा दी जाने वाली पूरी, हलवा जैसी खाद्य सामग्री के अत्यधिक सेवन से उत्पन्न स्वास्थ्य संबंधी जटिलताओं को माना जा रहा है।
'गौ सेवा हेल्पलाइन समिति', हिसार के संस्थापक निदेशक सीता राम सिंघल ने बताया कि त्योहारों के दौरान कई लोग यह सोचकर गायों को ऐसे खाद्य पदार्थ खिलाते हैं कि वे पुण्य का काम कर रहे हैं, लेकिन वास्तव में ये गायों के स्वास्थ्य के लिए हानिकारक साबित होते हैं।
सिंघल का एनजीओ पिछले कई वर्षों से ऐसी गायों की देखभाल कर रहा है जिन्हें खुला छोड़ दिया जाता है। साथ ही यह एनजीओ बीमार या दुर्घटनाग्रस्त गायों का पशु चिकित्सकों से इलाज भी कराता है।
सिंघल ने बताया कि हिसार शहर में खुली छोड़ दी गईं गायों में से औसतन प्रतिदिन केवल एक या दो गायों की मौत होती है। उन्होंने कहा कि इसमें जानवर की मृत्यु या तो प्राकृतिक कारणों से हुई होगी, या वह बीमार थीं या उनकी मृत्यु किसी दुर्घटना के कारण हुई होगी।
उन्होंने बताया कि हालांकि, पिछले तीन दिनों में शहर के विभिन्न हिस्सों में 20 से अधिक गायों की मौत हो चुकी है।
उनकी मौत संभवतः हलवा और पूरी जैसी चीजें खाने से हुई हैं, जिससे उनमें ‘एसिडोसिस’ जैसी जटिलताएं उत्पन्न हो जाती हैं और अंततः उनकी मौत हो जाती है।
गायों की मौत महावीर कॉलोनी, पीएलए क्षेत्र, सेक्टर 14, मिर्जापुर रोड, शांति नगर क्षेत्र, मिल गेट क्षेत्र और अन्य स्थानों पर हुई।
उन्होंने कहा कि कुछ लोग सोच सकते हैं कि सिर्फ एक पूरी या थोड़ा सा हलवा खिलाने से गाय को कोई नुकसान नहीं होगा, लेकिन वे यह नहीं जानते कि जानवर पहले ही अधिक खा चुका होगा क्योंकि अन्य लोगों ने भी ऐसी गायों को ये चीजें खिलाई होंगी।
सिंघल ने कहा कि जब गायें अधिक मात्रा में तला हुआ खाना खा लेती हैं, तो कुछ समय बाद ये पच नहीं पाता और उनके लिए जानलेवा साबित होता है।
लाला लाजपत राय पशु चिकित्सा एवं पशु विज्ञान विश्वविद्यालय के पशु चिकित्सा विशेषज्ञ डॉ. नीलेश सिंधु ने कहा, "पूरी और हलवा जैसे तले हुए खाद्य पदार्थों का अत्यधिक सेवन पशुओं में जटिलताएं उत्पन्न करता है... समय पर उपचार न मिलने पर उनकी मृत्यु हो जाती है।"
उन्होंने सलाह दी कि पशुओं को उनका मूल आहार - हरा चारा और भूसा - ही खिलाना चाहिए। उन्होंने कहा कि पूरी और हलवा जैसे तले हुए खाद्य पदार्थ खिलाने से बचें, क्योंकि ये पशुओं के लिए हानिकारक हैं।
हिसार मेयर परवीन पोपली ने शहरवासियों से अपील की है कि वे गायों और अन्य जानवरों को तले हुए खाद्य पदार्थ, हलवा, पूरी, मिठाइयां और ऐसे ही अन्य खाद्य पदार्थ न खिलाएं। उन्होंने कहा कि इन खाद्य पदार्थों का जानवरों पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है, क्योंकि ये उनके पाचन तंत्र को नुकसान पहुंचा सकते हैं और कई स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकते हैं।
उन्होंने चेतावनी दी कि ये खाद्य पदार्थ गंभीर बीमारियों का कारण भी बन सकते हैं जिनसे जानवरों की जान को खतरा हो सकता है।
भाषा अमित